भारत में वैसे तो हर धर्म के धार्मिक स्थल मौजूद हैं, लेकिन सबसे ज्यादा यहाँ हिंदु मंदिर हैं और इन मंदिरों में से कुछ मंदिरों में जाने को लेकर कई प्रकार के नियम भी हैं, जैसे- भारत के कुछ मंदिरों में लड़कियों का जाना मना है वहीं कुछ मंदिरों में कुछ विशेष जाति के लोगों का जाना मना है. आज हम भी आपको एक मंदिर के बारे में बताने जा रहे हैं और इस मंदिर की ख़ास बात यह है कि यहाँ कोई भी प्रवेश नहीं कर सकता. यहाँ तक कि मंदिर का पुजारी भी मंदिर में प्रवेश नहीं कर सकता. ये मंदिर देवभूमि कहे जाने वाले भारत के राज्य उत्तराखंड के चमोली जिले में स्थित है. इस मंदिर की कहानी सुनकर आप भी जरुर चकित होंगे.
यह मंदिर चमोली जिले के देवाल ब्लॉक के वांण नामक गांव में स्थित है. उत्तराखंड में यह मंदिर ‘लाटू देवता’ के नाम से प्रसिद्ध है. यहाँ पर लाटू देवता की पूजा की जाती है. इस मंदिर में किसी वीआईपी की भी नहीं चलती. यहाँ उनको भी अंदर जाने की इजाजत नहीं है. यहाँ तक कि मंदिर का पुजारी भी पूजा करने के लिए आँख, नाक और मुंह पर पट्टी बांधकर देवता की पूजा करने जाता है. माना जाता है कि इस मंदिर में नागराज अपने अद्भुत मणि के साथ निवास करते हैं जिसे आम लोग नहीं देख सकते. इस मंदिर की पूरी जानकारी के लिए देखें नीचे दिया गया वीडियो.
लाटू देवता के बारे में कहा जाता है कि वो आराध्य देवी नंदा के धर्म भाई हैं. लाटू देवता का मंदिर एक वृक्ष के नीचे स्थित है और इसको चारों तरफ से ढका गया है. माँ नंदा ने लाटू देवता को वरदान दिया था कि उनकी पूजा से पहले लोग लाटू देवता की पूजा करेंगे.
इस मंदिर में पुजारी भी जाता है आंख और मुंह पर पट्टी बांधकर, रोचक है इस देवता की कहानी
Reviewed by Jyotish kirpa
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